रणबीर कपूर की तुलना में इमरान खान के खाते में हिट फिल्मों की संख्या ज्यादा है, लेकिन बात जब अच्छे एक्टर की निकलती है तो इमरान से रणबीर मीलों आगे नजर आते हैं। दोनों की तुलना इसलिए क्योंकि साथ में इनका करियर शुरू हुआ और भविष्य का सुपरस्टार इन्हें माना जाता है।
पिछले वर्ष रिलीज हुई रॉकस्टार और हाल ही में दर्शकों का दिल जीत रही ‘बर्फी’ के जरिये रणबीर ने साबित कर दिया कि फिल्मों में चयन के मामले में उनकी पसंद थोड़ी अलग है। वे ऐसी फिल्म करना चाहते हैं जो कमर्शियल हिट तो हो, साथ ही उनके अंदर के कलाकार को संतुष्ट कर सके। रोल ऐसा हो कि कुछ कर दिखाने का चैलेंज हो।
इस मामले में लोग अभी से उनकी तुलना आमिर खान से करते हैं। आमिर की तरह रणबीर भी क्वांटिटी की बजाय क्वालिटी में विश्वास करते हैं, वरना बॉलीवुड के तमाम बड़े बैनर्स रणबीर के पीछे हैं, लेकिन वे सोच समझ कर ही फिल्म साइन करते हैं।
Ranbir kapoor |
इस बारे में रणबीर का कहना है कि उनका दिल करता है वही फिल्म साइन वे साइन करते हैं। स्क्रिप्ट और निर्देशक उनके लिए सबसे अहम है। बर्फी करना भी रणबीर ने इसीलिए मंजूर किया क्योंकि फिल्म की स्क्रिप्ट में उन्हें अनोखी बात नजर आई। अनुराग बसु की पिछली फिल्म काइट्स असफल रही थी, लेकिन रणबीर को उनकी क्षमताओं पर पूरा विश्वास था। अनुराग के साथ काम करना वे यादगार अनुभव मानते हैं।
बर्फी के लिए रणबीर ने लगभग दो वर्ष खर्च किए। इस किरदार ने उन्हें धैर्यवान बना दिया। मुंबई के गोरगांव स्थित संस्कारधाम विद्यालय में बर्फी जैसे लड़कों से मिलने का अनुभव उन्हें काम आया और वे बर्फी जैसा किरदार आसानी से निभा सके। कुछ लोगों का मानना है कि बिना संवाद के अभिनय करना मुश्किल काम है, लेकिन रणबीर इसे आसान मानते हैं।
‘बर्फी’ में रणबीर के अभिनय की चारों ओर प्रशंसा हो रही है। जिन्हें फिल्म पसंद नहीं भी आई वे भी कह रहे हैं कि रणबीर के अभिनय के लिए ही फिल्म देखी जानी चाहिए। बॉलीवुड के महानायक अमिताभ बच्चन ने भी रणबीर के अभिनय को शानदार बताया है।
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